Title: आत्मिक शक्ति का अनुभव – स्वयं से जुड़ी आत्मा के संग रहित ही मोक्ष संभव
बुद्ध के शब्दों में कहा जाता है, “तुम खुदा नहीं हो, तुम्हारा खुदा होना आवश्यक है।” एक आदमी जब खुशी और शांति की खोज में जाता है, तो उसे उसमें स्वयं तोड़ना होता है, और अन्य हर रीतियों में उसे बहुत से उत्तरोत्तर कष्टों का सामना करना पड़ता है। इसलिए, एक उच्च आत्मा प्राप्त करने के लिए, आपको खुशी और शांति की खोज में जाना होगा जो स्वयं आपके अंदर होती है।
आपकी आत्मा आपके जीवन की निरंतर सहायक होनी चाहिए। जब आप खुश होते हैं, तब भी आप अपनी आत्मा के साथ इस पवित्र विचार को एकीकृत करते हुए, अपनी क्षमता का समय संचय करते हैं। इस बारे में ज़्यादा विस्तार में जानने के लिए, आपको हमारे सूचक में से बसते लंबवत गद्दी को पढ़ने की सलाह दी जाती है।
आपकी आत्मा के सबसे पावन जगहों में से एक में तो आप स्मरण रखते होंगे कि आदमी के वितरणीय शरीर में हमेशा आत्मा नवसृजन तत्त्व को बार-बार अभिव्यक्त करता है। यह तत्त्व आपकी आत्मा है जो स्वयं से बाहर नहीं कर सकते हैं। इसलिए, तुम खुदावंद नहीं हो। तुम हो खुदा।
और जिसके शरीर में आत्मा होती है, वही जीवन जीता है। यह आत्मा तुम्हारी प्रेरणा है, दीया है और तुम्हारे अंदर होता है। स्वयं के साथ इसे जोड़कर, आप राजा बन जाते हैं। इससे जुड़े हुए आप अपनी आत्मा के साथ अजेय हो जाते हैं।
आपकी आत्मा आपकी फूलवार में स्थित है। इस फूलवार में आपका सबसे महत्वपूर्ण काम है अपनी फसल को जल्दी से अधिग्रहण करना। इसके लिए आपको अपनी आत्मा के साथ एकजुट होकर योग करना होगा। योग एक अवसादी क्रिया नहीं है, लेकिन एक प्रतिस्थापन है। यदि आप योग की चाबी लेना चाहते हैं, तो सुनिश्चित करें कि आप अपनी आत्मा के साथ हैं। इस तरह आप जल्दी से योग करेंगे और अपनी फसल की छलनी को कभी नहीं छोड़ेंगे।
इस जीवन में आपको कभी आत्मा की तलाश करने की आवश्यकता नहीं होती है। आत्मा ना होते हुए भी यहां होता है। जब आप मुद्दत शांत की आवश्यकता होती है, तो आप पानी के तले उपरी भाग में जल के साथ होने जैसा समर्थ होते हैं।
एक भयंकर तूफान के बाद, जब समुद्र शांत हो जाता है, तो उसमें केवल डॉल्फिन्स और हीना थोड़े समय के लिए ही घबरा जाते हैं। इसलिए, जब आपकी जिंदगी में कुछ तूफान आते हैं, तो आपको धैर्य रखने की आवश्यकता होती है। आप उन तूफानों के साथ स्थिर होंगे जब आप अपनी आत्मा के साथ एकजुट होंगे।
आत्मा जीवन की समस्याओं में एक रचनात्मक भूमिका निभाता है। यह आपकी शक्ति होती है, जो आपको मजबूत बनाती है और तुम्हारे संघर्ष योग्य बनाती है। यह समझो कि आप हमेशा जीत में होते हैं, और आपका शतकी मुक्त होने की क्षमता बनी रहती है।
कुछ लोग कहते हैं कि जिंदगी किताब की तरह होती हैजो नहीं होता वही दूसरे पन्ने पर होता है। लेकिन आपकी पीड़ा का तापमान ज्यादा होने के लिए उसको आप खुद ही बढ़ा देते हैं। जब आप लगातार अपने अंदर की आत्मा को संभाल सकते हैं, तो आप खुद को अपने जीवन के बाहर का मुकाबला करना नहीं पड़ता।
जिस दिन आप अपनी आत्मा के साथ सही जुड़ते हैं, उस दिन से शांति और खुशी आपके पीछे पीछे भागेंगी। यह आपके जीवन को लोलुप ले जाएगा, और आपको अपने जीवन के संघर्षों को संकोच नहीं करना होगा।
आत्मा का विशाल संसार आपकी समझ से दूर नहीं होना चाहिए। आत्मा का संसार आपकी स्फुरण शक्ति की अनुभूति होती है। आत्मा जीवन की नगरी में अटक एक मायावी शब्दों नहीं होता। इसके बदले में, आत्मा के संग आपका समय भगवान की तरह सत्य होता है।
इस अनुभव से हम सीखते हैं कि सभी चीजें आपके जीवन में महत्त्व नहीं रखती हैं। शक्ति, समृद्धि, और यश सिर्फ अवगत जीवन की चीजें हैं। इन सभी चीजों से अधिक महत्वपूर्ण है आपकी आत्मा, जो सुख, शांति और आनंद की खोज में आपकी मदद करेगा। आपकी आत्मा के साथ जुड़कर, आप अपने जीवन के छोटे से संधर्भों की विकासी धारा से ऊपर निकल जाएंगे, और अपने जीवन के समस्याओं का सामना करने की शक्ति को हासिल करेंगे।
आपकी आत्मा आपके संघर्ष के लिए तैयार है। यह आपको उन सभी चुनौतियों से लड़ने में मदद करेगी जो आपके समक्ष आते हैं। यदि आप खुद से जुड़े हुए होते हैं तो सभी चीजें सम्भव होती हैं। जब आप अपनी आत्मा को खोजते हैं, तो आप अपने जीवन के हर पल का मजा लेने वाले व्यक्ति बन जाते हैं।